बिहार में प्रचार के लिए राहुल और प्रियंका के पास समय नहीं
पटना (TBN – The Bihar Now डेस्क)| बिहार में लोकसभा चुनाव के तीन चरण पूरे हो चुके हैं और बाकी 16 सीटों पर मतदान होना बाकी है. महागठबंधन की ओर से कांग्रेस पार्टी राज्य में चुनाव प्रचार पर ध्यान नहीं दे रही है. कांग्रेस के बड़े नेता, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के पास समय नहीं है. राहुल गांधी भागलपुर आए भी तो महज 20 मिनट में ही निकल गए. राहुल ने कैंडिडेट की भाषण तक सुनना मुनासिब नहीं समझा.
लोकसभा चुनाव के तीन चरण में बिहार के 14 सीटों पर मतदान खत्म हो गया है. इसके साथ ही दर्जनों उम्मीदवारों की किस्मतें ईवीएम (EVM) में कैद हो गई है. बाकी बचे 16 सीटों पर चुनाव जीतने के लिए एनडीए और महागठबंधन के तमाम नेता धुआंधार प्रचार अभियान चला रहे है.
इन तीन चरणों के चुनाव में जहां एनडीए के तरफ से तमाम बड़े नेता बिहार दौरे पर आकर चुनावी जनसभा कर रहे हैं और लोगों को रिझाने में जुटे हुए हैं तो वहीं दूसरी तरफ महागठबंधन की तरफ से तेजस्वी यादव और मुकेश सहनी के अलावा कोई बड़े नेता साथ नजर नहीं आ रहे.
इसे भी पढ़ें – राम कृपाल यादव कभी भी अपनी प्रतिष्ठा और काम के आधार पर चुनाव नहीं लड़ते: मीसा भारती
भाकपा माले (CPI-ML) के महासचिव दीपांकर भट्टाचार्य (Dipankar Bhattacharya) जनसभा को संबोधित तो कर रहे है. लेकिन अलग-अलग कार्यक्रम में हिस्सा ले रहे है. बात अगर कांग्रेस की करें तो बिहार में अबतक कांग्रेस के कोई बड़े नेता अधिक समय नहीं दे पा रहे हैं.
INDIA गठबंधन के प्रत्याशी इंतजार में
दरअसल, बिहार में कांग्रेस के प्रत्याशी के साथ महागठबंधन के दूसरे घटक दल भी राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के चुनावी जनसभाओं की अपेक्षा जता रहे हैं. लेकिन इन दोनों के पास बिहार के लिए समय नहीं है. बिहार में अब तक राहुल की एकमात्र सभा हुई है और आगे छठे चरण से पहले कोई संभावना भी नजर नहीं आ रही है.
हालांकि कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे चौथे और पांचवे चरण में पार्टी प्रत्याशियों के समर्थन में जनसभा के लिए दूसरी बार बिहार आने वाले हैं. इसके अलावा कांग्रेस के कोई दूसरे बड़े नेता बिहार की तरफ देख भी नहीं रहे हैं. इधर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अखिलेश सिंह लगातार चुनाव में जुटे हुए है.
ऐसा कहा जा रहा है कि, राहुल और प्रियंका गांधी को उत्तरी राज्यों से ही फुर्सत नहीं है. इन राज्यों में उन्होंने अपनी इतनी जनसभा कर रखी है कि उनके लिए बिहार आना संभव नहीं है. जबकि बिहार में कांग्रेस 9 लोकसभा सीटों चुनाव लड़ रही है और इसके कई कैंडिडेट पहली बार चुनावी मैदान हैं. इसके बावजूद राहुल और प्रियंका बिहार में अधिक रुचि नहीं दिखा रहे हैं.
9 सीटों पर लड़ रही कांग्रेस
आम चुनाव 2024 में कांग्रेस के 9 उम्मीदवार बिहार के अलग-अलग सीटों पर अपनी चुनावी किस्मत आजमा रहे है. बाकी सीटों पर महागठबंधन के दूसरे दल के प्रत्याशी चुनावी मैदान में हैं. राहुल गांधी की बात करें तो उनमें से एक भागलपुर में जनसभा हुई है. जहां दूसरे चरण के अंतर्गत मतदान संपन्न हुआ.
दूसरे चरण में कांग्रेस के खाते की तीन सीटों पर चुनाव हो जाने के बाद चौथे चरण में समस्तीपुर लोकसभा सीट पर चुनाव होना है. इस सीट पर कांग्रेस का मुकाबला एनडीए उम्मीदवार शांभवी चौधरी से हो रहा है, जो चिराग पासवान की पार्टी से चुनावी मैदान में है.
बात शांभवी चौधरी की करें तो वह बिहार सरकार के मंत्री अशोक चौधरी की बेटी है, जो पहली बार चुनावी मैदान में है. दूसरी तरफ कांग्रेस के प्रत्याशी सन्नी हजारी भी बिहार सरकार के मंत्री महेश्वर हजारी के बेटे हैं. अब देखना दिलचस्प होगा कि जनता इन दोनों में से किसे पसंद करती है.
पहली बार चुनाव लड़ रहे दोनों प्रत्याशी
इधर, समस्तीपुर लोकसभा सीट पर जो कैंडिडेट मैदान में हैं वो पहली बार चुनाव लड़ रहे हैं. इसके बावजूद यहां राहुल गांधी या प्रियंका गांधी की कोई जनसभा नहीं होने वाली है.
इसके बाद 5वें चरण में कांग्रेस मुजफ्फरपुर में चुनाव लड़ रही है. पहले ऐसी संभावना थी कि यहां राहुल गांधी और प्रियंका गांधी की जनसभा हो सकती है. लेकिन अब यहां भी राहुल गांधी के आने की संभावना न के बराबर है.
इससे यह समझा जा सकता है कि कांग्रेस बिहार में अपने उम्मीदवारों की जीत को लेकर कितना सतर्क है. बिहार में सिर्फ कांग्रेस अपने सभी कैंडिडेट को राजद और महागठबंधन के बड़े नेताओं के भरोसे छोड़ दिया है. नहीं तो बिहार में एनडीए की तरह तमाम कांग्रेस के बड़े नेता चुनाव करते हुए नजर आते.
(इनपुट-मीडिया)