जानिए क्या हैं आरजेडी के ‘परिवर्तन पत्र’ के 24 जनवायदें
पटना (TBN – The Bihar Now डेस्क)| आरजेडी ने 19 अप्रैल को होने वाले पहले चरण की वोटिंग से 6 दिन पहले अपने 24 जनवायदों वाला ‘परिवर्तन पत्र’ जारी किया. प्रेस कॉन्फ्रेंस में घोषणा पत्र को जारी करते हुए आरजेडी की तरफ से कहा गया, हमने आज परिवर्तन पत्र जारी किया है, हम 2024 के चुनावों के लिए 24 वचन लेकर आए हैं. बिहार के विकास के लिए आज हम जो भी वादा करेंगे उसे पूरा करेंगे. आइए जानते हैं आरजेडी के ये 24 जनवायदें क्या क्या हैं –
एक करोड़ नौकरियाँ
बिहार में 17 साल बनाम 17 महीने की तर्ज़ पर हम सभी सरकारी विभागों और सार्वजनिक संस्थानों में रिक्त 30 लाख पदों के अलावा 70 लाख पदों का सृजन कर कुल 1 करोड़ नौकरियां देंगे. हम संविदा और अस्थायी पदों को नियमित करने के लिए भी तेजी से अभियान चलाएंगे. हम लोगो से ये वादा करते हैं कि बिहार में जिस प्रकार नौकरी का मतलब तेजस्वी हो गया है यही वादा हम इस चुनाव में एक प्रतिबद्ध संकल्प के रूप में लेते हैं 1 अतः केंद्र में राजद समर्थित गठबंधन की सरकार के गठन के छह महीने के अंदर 1 करोड़ नौकरियों की नियुक्ति प्रक्रिया प्रारम्भ की जाएगी.
बिहार को विशेष राज्य का दर्जा
बिहार को विशेष राज्य की माँग लगभग दो दशक पुरानी है. बिहार के विकास के बग़ैर देश विकसित हो जाएगा ये अकल्पनीय है. हमारी सरकार बनते ही बिहार को उसके विशेष राज्य का हक़ हम दिलायेंगे ताकि बिहार भी विकसित राज्यों की श्रेणी में शामिल होते हुए समावेशी विकास सुनिश्चित कर सके.
विशेष पैकेज
सामाजिक, आर्थिक और भौगोलिक दृष्टिकोण से एवं आबादी में देश का तीसरा सबसे बड़ा राज्य तथा पिछड़ा राज्य होने के कारण आगामी 5 वर्षों में बिहार में चौमुखी विकास के लिए 1 लाख 60 हजार करोड़ की विशेष वित्तीय सहायता दी जाएगी. इस वित्तीय राशि का 40 लोकसभा क्षेत्रों में समानुपातिक रूप से वितरण किया जाएगा. इसके अंतर्गत प्रत्येक लोकसभा क्षेत्र को 4000 करोड़ रूपए की विशेष धनराशि मिलेगी.
सेना एवं अर्द्ध सैनिक बल
राष्ट्रीय जनता दल और गठबंधन के सभी दलों ने ये ठाना है कि चार साल की अग्निवीर योजना को निरस्त करते हुए सेना में स्थायी नियोजन सुनिश्चित किया जायेगा तथा 2014 के पूर्व की भांति सेना में भर्ती प्रक्रिया में तेज़ी लाई जाएगी. ड्यूटी के दौरान अर्धसैनिक बलों के जवान की शहादत के पश्चात उन्हें भी शहीद का दर्जा देना हमारी प्रतिबद्धता है.
रेलवे
रेलवे की नियुक्ति को 2014 के पूर्व के मानको पर ले जाकर इसे दुगुनी करते हुए निराश युवाओं को नौकरी के अवसर प्रदान किए जाएँगे. रेलवे भर्ती से ना केवल युवाओं और उनके परिवारजनों की मदद होगी बल्कि इसकी सेवा गुणवत्ता में भी सुधार होगा. पिछले एक दशक में रेलवे के आधारभूत इंफ्रास्ट्रक्चर का जितना विस्तारीकरण होना चाहिए था नहीं हुआ है. रेलवे में पूर्व की तरह बुज़ुर्गों और बच्चों सहित अन्य वर्गों को टिकट में रियायत पुनः बहाल की जाएगी. रेलवे के निजीकरण को रोका जाएगा.
एयरपोर्ट
बिहार में पूर्णिया, गोपालगंज, मुजफ्फरपुर, भागलपुर एवं रक्सौल एयरपोर्ट को शुरू किया जाएगा. राज्य के आर्थिक विकास, पर्यटन एवं यात्रियों की सहूलियत के लिए आवश्यक है कि सभी प्रदेशों और पूर्वी पडोसी देशों के साथ अच्छी कनेक्टिविटी हो.
10 फसलों पर MSP एवं स्वामीनाथन रिपोर्ट
केंद्र की किसान विरोधी नीतियों ने हमारे अन्नदाताओं को अंधे कुएँ में धकेल दिया है. हम कृषकों को समर्पित नीतियाँ किसानों के साथ बैठकर बनायेंगे. स्वामीनाथन रिपोर्ट की सिफारिशों को लागू करेंगे. बिहार के उत्पादों के लिए अधिकतम MSP सुनिश्चित करेंगे. किसानों को कृषि कार्य हेतु बिजली मुफ़्त दी जायेगी. खेतिहर मज़दूरों के लिए वैकल्पिक आय के अवसर तलाश कर उन्हें पलायन के दंश से मुक्त किया जाएगा.
500 रूपए में गैस सिलेंडर
घरेलू गैस सिलेंडर की बढ़ती क़ीमतों एवं महंगाई ने गरीब और निम्न आयवर्ग की कमर तोड़ दी है. हम वादा करते हैं कि पूरे देश में इसकी क़ीमत 500 रुपये से अधिक नहीं होगी.
200 यूनिट फ्री बिजली
बिजली की बेतहाशा बढ़ती क़ीमतों पर लगाम लगाने के लिए एक आयोग का गठन किया जायेगा. साथ ही हरेक घरेलू उपभोक्ता को 200 यूनिट बिजली फ्री दी जाएगी.
मंडल कमीशन
वंचितों, उपेक्षितों एवं पिछड़ों के कल्याणार्थ मंडल कमीशन की शेष सिफारिशों को लागू किया जाएगा.
औद्योगिक इकाइयों की सहायता
बिहार में औद्योगिकीकरण को बढ़ावा देने के लिए इंडस्ट्री लगवाई जाएगी. लघु और मध्यम उद्योगों को बढ़ावा दिया जाएगा. कृषि आधारित एवं खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों की स्थापना हमारी प्राथमिकता होगी.
स्टार्टअप इनक्यूबेटर
राज्य में और देश के स्तर पर उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए अच्छे व्यवसायिक विचारों और योजनाओं वाले युवाओं को मार्गदर्शन और प्रारंभिक पूंजी प्रदान की जाएगी. इस कार्यक्रम में बिहार के ही सफ़ल व्यवसायी लोगों से सहायता ली जायेगी. हर साल दो से तीन स्टार्टअप प्रतियोग्यताएँ आयोजित की जाएंगी जहां देश और दुनिया के निवेशक को भाग लेना का निमंत्रण दिया जाएगा.
फ्रंटलाइन कार्यकर्ता
आंगनवाड़ी, आशा और मध्याह्न भोजन प्रदाताओं के वेतन एवं मानदेय को बढ़ाया जाएगा. व्यवस्था को मजबूत करने के लिए और नियुक्तियां भी की जाएंगी.
गरिमा और आर्थिक अवसर
हम आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लोगों को घर बनाने और छोटे व्यवसाय शुरू करने में मदद करने के लिए विशेष कार्यक्रम बनाएंगे. यह कार्यक्रम दूकान, छोटे कारखाने, या सेवा क्षेत्र में व्यवसाय शुरू करने के लिए ट्रेनिंग, प्रारंभिक पूँजी, और बिक्री पर केंद्रित होगा.
शिक्षा
हम सरकारी स्कूलों, कॉलेजों और विश्वविद्यालयों का तेजी से ऑडिट करेंगे तथा उनके बुनियादी ढांचे और मानव संसाधनों को अपडेट करेंगे. छात्र और शिक्षक अनुपात में नियुक्तियों की राष्ट्रीय नियमावली बनाएंगे. समयबद्ध तरीके से इसकी निगरानी के लिए एक विशेष टास्क फोर्स बनाई जाएगी.
स्वास्थ्य
‘स्वास्थ्य का अधिकार कानून’ लाएंगे जिसमे मुफ्त परामर्श, नैदानिक सेवाएं, दवाएं और उपभोग्य वस्तुएं और उपचार प्रदान करने के लिए एक सार्वभौमिक सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवा कार्यक्रम शुरू किया जाएगा. स्वास्थ्य का अधिकार को संवैधानिक स्वरूप देते हुए हर नागरिक के बीमारी का खर्च सरकार वहन करेगी और बीमा कंपनियों की मनमानी का ख़ात्मा करेगी.
सामाजिक न्याय-जातिगत जनगणना
हम देश भर में जातिगत जनगणना कराएंगे. हम यह सुनिश्चित करेंगे कि सभी समुदायों को उचित प्रतिनिधित्व मिले, जिसमें आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग भी शामिल हैं, चाहे उनकी जाति और समुदाय कुछ भी हो. राष्ट्रीय न्यायिक आयोग का नये सिरे से गठन कर और उपयुक्त कानून बनाकर उच्च न्याय पालिका में दलित, पिछड़े और आदिवासी समुदायों की अनुपातिक हिस्सेदारी सुनिश्चित करेंगे.
महिला सशक्तिकरण
सभी गरीब परिवार की महिलाओं को प्रतिवर्ष 1 लाख रूपए की सहायता दी जाएगी. पोषण और स्कूल में रहने के लिए प्रोत्साहन के तौर पर हम बालिकाओं को छात्रवृत्ति प्रदान करेंगे ताकि वे पीछे न रहें. हमारी महिलाएँ कैसे सफल उद्यमी बन पाएँ इसके के लिए एक विशेष सेल के माध्यम से सरकार बनने के छह माह के अंदर स्वयं सहायता समूह एवं महिलाओं को अपना उद्यम विकसित करने के लिए वित्तीय मदद और कौशल के लिए प्रशिक्षित किया जायेगा.
कानून और व्यवस्था
कानून प्रवर्तन निकायों, जैसे पुलिस इत्यादि, को लोगों के प्रति अधिक उत्तरदायी और संवेदनशील बनाने के लिए उन्हें प्रशिक्षण देने का काम किया जाएगा. यह अनुरोध हमें राज्य के कोने-कोने से मिला है.
आरक्षण
वंचितों, उपेक्षितों, पिछड़ों, दलितों, आदिवासियों, गरीबों, के लिए बिहार की तर्ज पर आरक्षण की सीमा बढाकर 75% की जाएगी. हम सरकारी ठेकों में दलित, पिछड़ों और आदिवासी समुदायों की हिस्सेदारी तय करेंगे.
युवा आयोग
वर्तमान में देश की बहुसंख्यक आबादी युवा है. युवा वर्गों के हितों के मद्देनजर राष्ट्रीय युवा आयोग का गठन किया जाएगा. इसमें राज्य के युवा छात्रों, व्यवसायियों तथा संगठित एवं असंगठित क्षेत्र में काम करने वालों की भागीदारी होगी. इसका पहला क़दम राज्य के युवाओं के बीच उनकी राय और महत्वाकांक्षाओं को जानने के लिए एक डिजिटल सर्वे के साथ होगी.
OPS-पुरानी पेंशन बहाली
केंद्र में भाजपा नीत एनडीए की वाजपेयी सरकार ने सरकारी कर्मियों के लिए पेंशन योजना बंद की थी. जिसके कारण विगत कई वर्षों से लगभग एक करोड़ सरकारी कर्मी NPS अर्थात् न्यू पेंशन स्कीम शामिल है तथा वे सपरिवार खुद को असुरक्षित महसूस कर रहे हैं. केंद्र और राज्य में हमारी सरकारी आने पर OPS (ओल्ड पेंशन स्कीम) पुरानी पेंशन योजना को बहाल किया जाएगा. OPS लागू करने से सरकारी कर्मियों, पेंशनरों और उनके रिश्तेदारों को मिलाकर लगभग 10 करोड़ लोगों को इसका लाभ मिलेगा.
फिल्म और टीवी प्रशिक्षण और फिल्म सिटी का निर्माण
रोजगार, पर्यटन और निवेश को बढ़ाने के लिए राज्य में एक फिल्म और टीवी संस्थान और उसी से जुडी एक फ़िल्म सिटी का निर्माण किया जाएगा जहां कई डिप्लोमा और सर्टिफिकेट कार्यक्रम उपलब्ध होंगे और साथ ही साथ इंटर्नशिप करने के मौके भी.
धरोहर और पर्यटन
बिहार के सभी धर्मों के ऐतिहासिक धार्मिक स्थलों का जीर्णोद्धार कर उन्हें ऐतिहासिक स्थल बनाने की कार्यवाही की जाएगी. पर्यटकों के लिए इन सभी स्थानों पर उपयुक्त सार्वजनिक सेवाएं उपलब्ध होंगी.