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राबड़ी और तेज प्रताप के बाद ED ने ‘IRCTC जमीन के बदले नौकरी’ मामले में लालू से की पूछताछ

पटना (The Bihar Now डेस्क)| बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी (Rabri Devi) और उनके बेटे तेज प्रताप यादव (Tej Pratap Yadav) से पूछताछ करने के एक दिन बाद, प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) ने बुधवार को राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव (RJD chief Lalu Prasad Yadav) से मनी लॉन्ड्रिंग मामले (money laundering case) में पूछताछ की. यह मामला कथित “नौकरी के बदले जमीन” घोटाले (Land-for-Jobs scam) से जुड़ा हुआ है.

लालू यादव अपनी बेटी मीसा भारती के साथ पटना स्थित ईडी (ED) कार्यालय पहुंचे, जहां उनसे पूछताछ की गई.

इससे पहले, बिहार विधानसभा में विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने कहा कि केंद्र सरकार की एजेंसियों की यह कार्रवाई उन्हें डराने के लिए की जा रही है, लेकिन इसका कोई असर नहीं पड़ेगा.

उन्होंने कहा, “चुनाव नजदीक हैं, इसलिए ईडी, सीबीआई और आयकर विभाग सक्रिय हो गए हैं. लेकिन इससे हमें कोई फर्क नहीं पड़ने वाला. केंद्र सरकार हमें डराने की कोशिश कर रही है, लेकिन वह सफल नहीं होगी. हमसे पहले भी कई बार पूछताछ हो चुकी है, लेकिन इसका कोई नतीजा नहीं निकला.”

इस मामले में पिछले साल दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने लालू यादव, तेजस्वी यादव और तेज प्रताप यादव को जमानत दे दी थी.

पटना पुलिस ने ईडी कार्यालय के आसपास सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं ताकि कोई अप्रिय घटना न हो. उधर, बड़ी संख्या में राजद समर्थक भी ईडी दफ्तर के बाहर जमा हो गए हैं.

इससे पहले मंगलवार को राबड़ी देवी से साढ़े चार घंटे तक पूछताछ की गई थी और वह दोपहर 2:45 बजे ईडी कार्यालय से बाहर निकलीं. तेज प्रताप यादव से अलग से पूछताछ हुई, जो शाम 4:30 बजे तक चली.

ईडी ने पूछताछ के दौरान छह महत्वपूर्ण सवालों पर जोर दिया. इनमें शामिल थे – तेजस्वी यादव ने दिल्ली के न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी में बंगला कैसे खरीदा? पटना के सगुना मोड़ की जमीन कैसे हासिल हुई? अपार्टमेंट निर्माण के लिए धन का स्रोत क्या था? राबड़ी देवी के नाम पर जमीन कैसे दर्ज हुई?

ईडी द्वारा लालू यादव से पूछताछ के चलते बिहार की राजनीति में हलचल तेज हो गई है.

यह मामला 2004 से 2009 के बीच का है, जब लालू यादव रेलवे मंत्री थे. आरोप है कि इस दौरान रेलवे में नौकरियां देने के बदले जमीन की सौदेबाजी की गई और कई संपत्तियां लालू यादव के परिवार के नाम स्थानांतरित कराई गईं.

इस मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अलावा, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने भी आरोप पत्र दायर किया है, जिसमें कुल 78 लोगों को आरोपी बनाया गया है. इनमें लालू प्रसाद यादव, उनकी पत्नी राबड़ी देवी, बेटे तेजस्वी और तेज प्रताप यादव, और बेटियां मीसा भारती व हेमा यादव भी शामिल हैं.

राजद ने इन जांचों के समय पर सवाल उठाए हैं और इसे आगामी बिहार विधानसभा चुनाव से पहले सत्तारूढ़ पार्टी की राजनीतिक साजिश बताया है.