स्थानीय निकायों के लिए 15वें वित आयोग ने 14,434 करोड़ अधिक का किया प्रावधान
पटना (TBN – The Bihar Now डेस्क)| 5वें वित्त आयोग ने 14वें की तुलना में बिहार के स्थानीय निकायों (शहरी व पंचायती राज संस्थाओं को) अगले पांच साल में 14,434 करोड़ रुपये अधिक देने की अनुशंसा की है. यह बात मंगलवार को पूर्व उपमुख्यमंत्री व सांसद सुशील कुमार मोदी ने कहा.
मोदी ने बताया कि 14वें वित आयोग (2015-20) से 21,143 करोड़ प्राप्त हुआ था जबकि 15वें वित आयोग(2021-26) की अनुशंसा पर बिहार के स्थानीय निकायों को 35,577 करोड़ रुपये मिलेगा.
उन्होंने कहा कि इसके अतिरिक्त पहली बार वित्त आयोग ने 6,017 करोड़ रुपये का प्रावधान स्वास्थ्य प्रक्षेत्र के लिए किया है जो स्थानीय निकायों के माध्यम से खर्च होंगे. इनमें ग्रामीण क्षेत्रों पर 5,033 करोड़ और शहरी क्षेत्रों के स्वास्थ्य प्रक्षेत्र पर 984 करोड़ खर्च होंगे.
मोदी ने कहा कि प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र व उपकेन्द्रों तथा भवनविहीन शहरी वेलनेस सेंटर आदि के भवन निर्माण पर यह राशि खर्च की जाएगी. अनुदान की राशि प्राप्त करने के लिए निकायों को अपने एकाउंट का अंकेक्षण कराना होगा. पहले दो साल में 25 प्रतिशत निकायों को अंकेक्षण करा कर ऑनलाइन रिपोर्ट सार्वजनिक करना होगा तभी उनको पूरा अनुदान मिलेगा. बाद के तीन वर्षों में शत-प्रतिशत अंकेक्षण अनिवार्य होगा.
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उन्होंने बताया कि 14वें वित्त आयोग ने पंचायती राज संस्थाओं को 18,916 करोड़ दिया था जबकि 15वें वित आयोग की अनुशंसा पर 19,561 करोड़ प्राप्त होगा. इसी प्रकार शहरी निकायों को 15वें वित आयोग ने 9,999 करोड़ की अनुशंसा की है जबकि 14वें की अनुशंसा पर 2,227 करोड़ ही प्राप्त हुआ था. इस राशि से 10 लाख से ज्यादा आबादी होने के कारण पटना नगर निगम को 1,690 करोड़ मिलेगा जबकि राज्य के अन्य शहरी निकायों को 8,309 करोड़ रुपये प्राप्त होंगे.