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Land For Jobs Case: लालू यादव की सांसद बेटी से पूछताछ

नई दिल्ली / पटना (TBN – The Bihar Now डेस्क)|राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव की सांसद बेटी मीसा भारती (Lalu Prasad Yadav’s MP daughter Misa Bharti) से शनिवार को दिल्ली में प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) ने रेलवे की जमीन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में पूछताछ की.

46 वर्षीय मीसा भारती राष्ट्रीय जनता दल की राज्यसभा सांसद हैं. वह पूर्वाह्न करीब 11 बजे मध्य दिल्ली स्थित संघीय एजेंसी ED के कार्यालय में गईं, जिसके बाद समझा जाता है कि उनका बयान धन शोधन निवारण अधिनियम (Prevention of Money Laundering Act, PMLA)) के तहत दर्ज किया गया है.

उनके भाई और बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव (Bihar Deputy Chief Minister Tejashwi Yadav) इसी मामले में शनिवार को दिल्ली में सीबीआई (CBI) के समक्ष पूछताछ के लिए पेश हुए.

दोनों केंद्रीय एजेंसियों ने हाल ही में मामले में कार्रवाई शुरू की. सीबीआई ने लालू प्रसाद और उनकी पत्नी और बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी (former Bihar chief minister Rabri Devi) से पूछताछ की और ईडी ने राजद प्रमुख के परिवार के खिलाफ छापेमारी की.

प्रवर्तन निदेशालय ने तलाशी के बाद कहा था कि उसने एक करोड़ रुपये की “बेहिसाब नकदी” जब्त की और 600 करोड़ रुपये के अपराध की आय का पता लगाया.

इसने कहा कि लालू के परिवार और उनके सहयोगियों की ओर से विभिन्न स्थानों पर रियल एस्टेट सहित विभिन्न क्षेत्रों में किए गए निवेश का पता लगाने के लिए जांच की जा रही है.

बता दें, कथित घोटाला उस दौर का है जब लालू प्रसाद यादव केंद्र की यूपीए-1 सरकार में रेल मंत्री थे.

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लालू पर आरोप है कि 2004-09 की अवधि के दौरान, भारतीय रेलवे के विभिन्न क्षेत्रों में ग्रुप-डी पदों पर विभिन्न व्यक्तियों को नियुक्त किया गया था, और इसके बदले में संबंधित व्यक्तियों ने तत्कालीन रेल मंत्री लालू प्रसाद के परिवार के सदस्यों एवं एके इंफोसिस्टम्स प्राइवेट लिमिटेड नामक एक कंपनी को अपनी जमीन हस्तांतरित कर दी थी.

सीबीआई का आरोप है कि नियुक्ति के लिए कोई विज्ञापन या सार्वजनिक नोटिस जारी नहीं किया गया था. लेकिन पटना के कुछ निवासियों को मुंबई, जबलपुर, कोलकाता, जयपुर और हाजीपुर में स्थित विभिन्न जोनल रेलवे में स्थानापन्न के रूप में नियुक्त किया गया था.

सीबीआई ने आरोप लगाया था कि प्रतिदान के तौर पर उम्मीदवारों ने सीधे तौर पर या अपने करीबी परिवार के सदस्यों के माध्यम से कथित रूप से लालू प्रसाद के परिवार के सदस्यों को अत्यधिक रियायती दरों पर, प्रचलित बाजार दरों के एक-चौथाई से एक-पांचवें तक जमीनें बेच दी थी.

इधर, शनिवार को सीबीआई द्वारा अपने माता-पिता से पूछताछ के बाद तेजस्वी यादव ने संवाददाताओं से कहा कि तत्कालीन रेल मंत्री प्रसाद के पास एहसान के बदले रोजगार देने की “कोई शक्ति नहीं” थी.